मुख्यमंत्री श्री भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य सरकार आगामी खरीफ विपणन सीजन (केएमएस) के लिए पूरी तरह तैयार है। उन्होंने कहा कि राज्य में अभी 32 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में धान की खेती हो रही है, जिसमें पंजाब 185 लाख मीट्रिक टन धान की खरीद पर ध्यान केंद्रित कर रहा है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि आरबीआई द्वारा केएमएस 2024-25 के लिए 41,378 करोड़ रुपये की सीसीएल जारी की जा चुकी है। विज्ञप्ति के अनुसार, “मुख्यमंत्री श्री भगवंत सिंह मान ने कहा कि भारत सरकार ने इस सीजन में समीक्षा ‘ए’ धान के लिए 2,320 रुपये प्रति क्विंटल न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) तय किया है। उन्होंने कहा कि राज्य खरीद कार्यालय, जैसे पनग्रेन, मार्कफेड, पनसप, पीएसडब्ल्यूसी, एफसीआई के साथ मिलकर भारत सरकार द्वारा निर्धारित निर्धारण के अनुसार न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान खरीदेंगे।” भगवंत सिंह मान ने कहा कि धान की सुचारू और भाईचारे से खरीद के लिए पूरे प्रबंध किए गए हैं, जिसमें कहा गया है कि राज्य सरकार धान की सुचारू और भाईचारे से खरीद और उठान के लिए प्रतिबद्ध है। मुख्य सेवक ने कहा कि राज्य सरकार ने किसानों की फसल मंडियों में आते ही उसे प्राप्त करने के लिए पहले से ही व्यवस्थाएं बढ़ा दी हैं। उन्होंने कहा कि किसानों को उनके बैंक खातों में तुरंत किस्त की गारंटी देने के लिए एक उचित साधन विकसित किया गया है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि बाजार में अनाज की सुचारू और परेशानी मुक्त खरीद सुनिश्चित की जा रही है ताकि किसानों को किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े। मुख्य सचिव ने कहा कि एक तरफ धान की सुचारू, परेशानी मुक्त और तेजी से खरीद सुनिश्चित करने और दूसरी तरफ किसानों को उनकी फसल का समय पर भुगतान सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास किए गए हैं। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि राज्य के किसानों को मंडियों में अपनी फसल की खरीद के लिए किसी भी तरह की परेशानी नहीं होनी चाहिए। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए बाध्य है कि किसानों का एक-एक दाना सुरक्षित हो और तुरंत उठाया जाए। मुख्य सचिव ने डिप्टी कमिश्नरों को मंडियों में धान की फसल की खरीद की सुचारू व्यवस्था सुनिश्चित करने के साथ-साथ अपने-अपने क्षेत्र में इसकी तेजी से उठान सुनिश्चित करने के लिए भी कहा। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि इस दायित्व को निभाने में किसी भी प्रकार की ढील अनुचित और अवांछनीय है। उन्होंने कहा कि विज्ञप्ति के अनुसार किसानों को प्रोत्साहित करने के लिए उनकी उपज को जल्द से जल्द प्राप्त किया जाना चाहिए। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य सरकार धान की सुचारू और निर्बाध खरीद के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है और अधिकारियों की यह जिम्मेदारी है कि वे सरकार के फैसले को सही ढंग से लागू करने के लिए हर संभव प्रयास करें। मुख्य सचिव ने कहा कि चावल मिल संचालकों को बड़ी राहत देते हुए राज्य के पहले 750 मिल संचालक जो खरीद सीजन 2024-25 के लिए कस्टम प्रोसेसिंग के लिए आवेदन करेंगे, उन्हें विज्ञप्ति के अनुसार उनके अधिकार से 25 प्रतिशत अधिक धान आवंटित किया जाएगा।
